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इंडिया मार्ट समेत 42 ऑनलाइन, 35 बाजारों का स्तर घटिया मिला; चीन के सबसे ज्यादा सामान मिले डुप्लीकेट
अमेरिकी अथॉरिटी का आरोप है कि इन बाजारों में उनके ब्रांड्स के डुप्लीकेट सामान 10 गुना कम दाम पर बिकते हैं। सबसे ज्यादा डुप्लीकेट चीजें इलेक्ट्रॉनिक्स और कपड़ों हैं। ग्लोबल ट्रेड रिप्रजेंटेटिव कैथरिन ताई ने 2021 में नकली सामान बेचने के नाम पर सभी बाजारों की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि डुप्लीकेट और पायरेटेड सामाग्री बेचने से वैश्विक कारोबार प्रभावित हो रहा है। साथ ही अमेरिकी इनोवेशन और क्रिएटिविटी घटने से अमेरिकी कामगारों को नुकसान हो रहा है।
इस रिपोर्ट में 42 ऑनलाइन मार्केट और 35 बाजारों का जिक्र किया गया, जो लगातार ट्रेडमार्क और कॉपीराइट का उल्लंघन कर रहे थे। अमेरिकी अधिकारियों ने भास्कर को बताया कि पालिका बाजार जैसे बाजार अरबों डॉलर के महंगे ब्रांडों की प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचाते हैं। इसलिए ब्लैकलिस्ट कर अमेरिकी पर्यटकों को ऐसे बाजारों से सावधान रहने के की सलाह दी गई है।
इधर, इंडियन ट्रेड एसोसिएशन ने इस रिपोर्ट को नकारते हुए कहा है कि ऐसा नहीं है। कुछ डुप्लीकेट कास्मेटिक्स किद्दरपुर मार्केट कोलकत्ता में मिले हैं। इससे कई लोगों ने आंखों में जलन, त्वचा संबंधी दिक्कते हुई हैं।
चीन से सबसे ज्यादा 78 फीसदी डुप्लीकेट सामान बरामद हुआ
वैश्विक स्तर पर अमेरिका का 2.5% डुप्लीकेट सामान बिकता है। ये करीब 37 लाख करोड़ रुपए का है। डुप्लीकेट सामान सबसे ज्यादा चीन में बनता है। हॉन्गकॉन्ग से चीनी कारोबारी समुद्र के रास्ते डुप्लीकेट सामान भारत भेजते हैं। छापेमारी में 78% डुप्लीकेट सामान चीन से मिलीं हैं। ब्लैक लिस्ट बाजार में बीजिंग सिल्क मार्केट भी है।